Sunday, August 10, 2014

लम्हों की खुली किताब है जिंदगी
खयालों और सासोंका हिसाब है जिंदगी
कुछ जरुरते पूरी, कुछ ख्वाहिशें अधुरी
इन्ही सवालोंके जवाब है जिंदगी

(Forwarded)

1 comment:

Anonymous said...

lame. A 'Deepity' imho.
(See http://rationalwiki.org/wiki/Deepity)